दिल्ली के सरकारी अस्पताल में पहली बार रोबोट ने किया किडनी ट्रांसप्लांट, मरीज स्वस्थ

महामारी के बाद से देश की हेल्थ केयर फैसिलिटी में बहुत विकास किया जा रहा है। ताकि आने वाले समय में लोगों को हेल्थ केयर फैसिलिटी मे कोई दिक्कत ना आए। इसी लिए देश की राजधानी दिल्ली में नए – नए हॉस्पिटल बनाए जा रहे हैं।

इसके साथ ही दिल्ली के एक सरकारी अस्पताल में पहला रोबोट से किडनी ट्रांसप्लांट किया गया।रोबोट से किडनी का ट्रांसप्लांट दिल्ली के सफदरजंग अस्पताल में किया गया है। जानकारी के लिए बता दें कि जिस मरीज का रोबोट से किडनी का ट्रांसप्लांट हुआ है, वह उत्तर प्रदेश के फर्रूखाबाद के 39 साल के मुकेश है।दरसल मुकेश बीते 5 सालों से किडनी की समस्या से जूझ रहे थे।

अब वह करीब तीन महीने पहले से सफदरजंग अस्पताल में डायलिसिस पर चल रहे थे। ऐसे हालत में किडनी का ट्रांसप्लांट ही इलाज का अंतिम विकल्प था। उनके किडनी ट्रांसप्लांट के लिए किडनी उनकी पत्नी ने दी।लेकिन इस ट्रांसप्लांट में दिक्कत मुकेश के मोटापे से आई। जिसके लिए तकनीक और रोबोट का सहारा लेकर सर्जरी की गई।

जानकारी के लिए बता दें कि फिलहाल मरीज पूरी तरह से स्वस्थ्य है और जल्द ही इसको अस्पताल से छुट्टी दे दी जाएगी। यह ट्रांसप्लांट सफदजंग अस्पताल के चिकित्सा अधीक्षक डॉ. बीएल शेरवाल की बनाई गई टीम की अगुवाई में हुआ। इस सर्जरी को उन्होंने अस्पताल के लिए मील का पत्थर बताया।

इस सर्जरी को रोबोट से किया गया। देश में अभी 4 निजी अस्पतालों में इस तकनीक से सर्जरी होती है। इस पर करीब 7-8 लाख रुपए का खर्च आता है। लेकिन सफदजंग अस्पताल में इस सर्जरी को बिल्कुल मुफ्त किया गया।

सफदजंग अस्पताल के डॉ. हिमांशु वर्मा ने बताया कि यह अभी तक का 100वां किडनी ट्रांसप्लांट हैं। इससे पहले 99 ट्रांसप्लांट सामान्य रूप से डॉक्टरों द्वारा किए गए हैं। जबकि मुकेश का ट्रांसप्लांट रोबोटिक के माध्यम से 100वां ट्रांसप्लांट था।