दिल्ली के सिग्नेचर ब्रिज से डीएनडी फ्लाईवे तक रिंग रोड को जाम मुक्त करने की लोक निर्माण विभाग (PWD) की स्कीम में चेंजमेंट किया जा रहा है। इस प्रोजेक्ट में रूट को बदलने की जरूरत बताई जा रही है। यह दूसरी बार है जब परियोजना के लिए डायवर्जन प्रस्तावित किया गया है। यह 3000 करोड़ रुपये की परियोजना वर्ष 2018 में बनाई गई थी। परियोजना में रिंग रोड के समानांतर एक ऊंचा गलियारा बनाने का प्रस्ताव है।
उत्तर से दक्षिण दिल्ली जाना आसान होगा
आपको बता दे, इस कॉरिडोर से उत्तरी दिल्ली के सिविल लाइंस इलाके से आश्रम और दक्षिणी दिल्ली आने-जाने वाले लोगों की आवाजाही आसान हो जाएगी। ऊंचा गलियारा यमुना के समानांतर रिंग रोड के वैकल्पिक मार्ग के रूप में कार्य करेगा। जब परियोजना पूरे तरीके से पूर्ण हो जाएगी, तो उत्तर-मध्य दिल्ली में मजनू का टीला, मैटकैफे हाउस और सराय काले खां के भारी भीड़भाड़ वाले इलाके सिग्नल मुक्त हो जाएंगे। लोक निर्माण विभाग ने शुरू में परियोजना को दो भागों में करने की योजना बनाई थी। पहले हिस्से में सिग्नेचर ब्रिज और सलीमगढ़ फोर्ट-रिंग रोड बाईपास के बीच एलिवेटेड रोड थी।
अभी भी कुछ विभागों से एनओसी का इंतजार है
वहीं अगले हिस्से में इस सड़क को डीएनडी फ्लाईवे तक बढ़ाने का प्रस्ताव था, परंतु अब परियोजना को संशोधित किया गया है। एलिवेटेड रोड पूरी तरह सिग्नेचर ब्रिज और डीएनडी फ्लाईवे के बीच यमुना के डूब क्षेत्र पर होगा। नेशनल मिशन फॉर क्लीन गंगा (एनएमसीजी) ने पीडब्ल्यूडी से रूट बदलने को कहा था। कुछ विभागों की एओसी की मंजूरी अभी बाकी है। पीडब्ल्यूडी के एक अधिकारी ने कहा कि मामला विचाराधीन है। राजधानी दिल्ली के पूर्व उपमुख्यमंत्री ने 2018 में योजना की घोषणा की थी। इसकी व्यवहार्यता रिपोर्ट 2019 में पूरी हो गई थी। हालांकि, परियोजना अभी तक शुरू नहीं हुई है।